Thursday 10 December 2015

हर्बल टी की अलग-अलग चुस्कियों में छिपा है आपकी सेहत का राज (Herbal tea cup hidden in various secret of your health)

आप घरेलू जड़ी-बूटियों से बनी हर्बल टी आसानी से घर पर बना सकते हैं। इनके गुणों से कई रोगों मे लाभ और आराम मिलता है। हर्बल चाय पीने के कई फायदे है। हर्बल टी के कई रूप है जिसे आप अपने स्वाद के मुताबिक बनाकर उसका लाभ उठा सकते है। आईए डालते है हर्बल टी के अलग-अलग रुप पर एक नजर:


पीपरमेंट टी: अगर आप ताजगी चाहते हो तो इस चाय का इस्तेमाल कर सकते है। पीपरमेंट टी आपके तनाव को घटाकर ताजगी प्रदान करता है। इस चाय के सेवन से तुरंत ताजगी का ऐहसास होता है।

ब्लैक टी: चाय का यह स्वरूप हमारे देश में बेहद लोकप्रिय है। ब्लैक टी में भरपूर मात्रा में टैनिन पाया जाता है, जो शरीर और दिमाग में उर्जा लाने, थकान दूर करने और मूड बेहतर बनाने में सहायक है। कई रिसर्च के मुताबिक रोजाना ब्लैक टी का सेवन फेफड़ों और हार्ट को स्वस्थ बनाए रखने में मददगार होता है।

ग्रीन टी: सेहत के लिहाज से ग्रीन टी को बहुत गुणकारी माना गया है। इसमें प्रचुर मात्रा में एंटी-ऑक्सीडेंट्स होने के कारण यह शरीर को मजबूत बनाने और कैंसर से बचाव करने में भी मददगार है। ग्रीन टी में मौजूद केमिकल ब्रेन का रक्त संचार सही कर मेमरी बढ़ाने में अहम भूमिका निभाते हैं। यह चाय शरीर की मसल्स को एक्टिव बनाने और मेटाबालिज्म दर बढ़ाकर वजन घटाने में भी हमारी मदद करती है।

उलॉन्ग टी: यह बहुत हद तक ब्लैक टी की तरह ही होती है, पर इसे बनाने के दौरान चाय की पत्तियों को मशीनों में ज्यादा देर तक सुखाया जाता है, इसलिए इसका स्वाद जरा कड़क होता है। ब्लैक टी के मुकाबले इसमें अधिक मात्रा में टैनिन होता है, इसलिए तुरंत चुस्ती के लिए इसका सेवन कारगर माना गया है।

हर्बल टी: यह चाय सूखे मेवे, तरह-तरह के फूल और जड़ी-बूटियां डालकर बनाई जाती है। इस तरह की चाय आपके लिए हमेशा फायदेमंद हो सकती है।

स्वास्थ्य के लिहाज से गुणकारी तुलसी (Health-wise beneficial basil)

ज्यादातर हिंदू परिवारों में तुलसी की पूजा की जाती है। इसे सुख और कल्याण के तौर पर देखा जाता है लेकिन पौराणिक महत्व से अलग आयुर्वेद में तुलसी के पौधे के हर भाग को स्वास्थ्य के लिहाज से फायदेमंद बताया गया है। सर्दी-खांसी से लेकर कई बड़ी और भयंकर बीमारियों में भी एक कारगर औषधि है।

आयुर्वेद में तुलसी के पौधे के हर भाग को स्वास्थ्य के लिहाज से फायदेमंद बताया गया है:

* लागातार खाली पेट तुलसी का जूस पीने से याददाश्त शक्ति बढ़ती है।

* तुलसी का जूस पीने से तेज बुखार कम करने में भी मदद मिलती है।

* मलेरिया और डेंगू पर भी काबू पाने में मदद मिलती है।

*अक्सर महिलाओं को पीरियड्स में अनियमितता की शिकायत हो जाती है। ऐसे में तुलसी के बीज का इस्तेमाल करना फायदेमंद होता है। मासिक चक्र की अनियमितता को दूर करने के लिए तुलसी के पत्तों का भी नियमित किया जा सकता है।

*पुरुषों में शारीरिक कमजोरी होने पर तुलसी के बीज का इस्तेमाल काफी फायदेमंद होता है. इसके अलावा यौन-दुर्बलता और नपुंसकता में भी इसके बीज का नियमित इस्तेमाल फायदेमंद रहता है।

*अगर आपको सर्दी या फिर हल्का बुखार है तो मिश्री, काली मिर्च और तुलसी के पत्ते को पानी में अच्छी तरह से पकाकर उसका काढ़ा पीने से फायदा होता है। आप चाहें तो इसकी गोलियां बनाकर भी खा सकते हैं।

*त्वचा संबंधी रोगों में तुलसी खासकर फायदेमंद है। इसके इस्तेमाल से कील-मुहांसे खत्म हो जाते हैं और चेहरा साफ होता है।

*कई शोधों में तुलसी के बीज को कैंसर के इलाज में भी कारगर बताया गया है . हालांकि अभी तक इसकी पुष्ट‍ि नहीं हुई है.

जीरा के स्‍वास्‍थ्‍य लाभ (The health benefits of cumin)

जीरा एक ऐसा मसाला है जिसके छौंक से दाल और सब्जियों का स्वाद बहुत बढ़ जाता है। चाट का चटपटा स्वाद भी जीरे के बिना अधूरा सा लगता है। अंग्रेजी में इसे क्यूमिन (cumin) कहा जाता है। इसका वानस्पतिक नाम क्यूमिनम सायमिनम है। यह पियेशी परिवार का एक पुष्पीय पौधा है। मुख्यत: पूर्वी भूमध्य सागर से लेकर भारत तक इसकी पैदावार अधिक होती है।

दिखने में सौंफ के आकार का दिखाई देने वाला जीरा सिर्फ खाने का स्वाद ही नहीं बढ़ाता यह बहुत उपयोगी भी है। यही कारण है कि कई रोगों में दवा के रूप में भी जीरे का उपयोग किया जा सकता है। कई रोगों के उपचार के लिए जीरा बहुत उपयोगी होता है।


  • 3 ग्राम जीरा और 125 मि.ग्रा. फिटकरी पोटली में बांधकर गुलाब जल में भिगो दें। आंख में दर्द होने पर या लाल होने पर इस रस को टपकाने से आराम मिलता है।



  •  दही में भुने जीरे का चूर्ण मिलाकर खाने से डायरिया में आराम मिलता है।



  •  जीरे को नींबू के रस में भिगोकर नमक मिलाकर खाने से जी मिचलाना बंद हो जाता है।



  • जीरा में थोड़ा-सा सिरका डालकर खाने से हिचकी बंद हो जाती है।



  •  जीरे को गुड़ में मिलाकर गोलियां बनाकर खाने से मलेरिया में लाभ होता है।



  • एक चुटकी कच्चा जीरा खाने से एसिडिटी में तुरंत राहत मिलती है।
  • डायबिटीज को नियंत्रित करने के लिए एक छोटा चम्मच पिसा जीरा दिन में दो बार पानी के साथ लेने से लाभ होता है।



  • जीरा आयरन का सबसे अच्छा स्रोत है। इसे नियमित रूप से खाने से खून की कमी दूर हो जाती है। गर्भवती महिलाओं के लिए जीरा अमृत का काम करता है।



  • जीरा, अजवाइन, सौंठ, कालीमिर्च, और काला नमक अंदाज से लेकर इसमें घी में भूनी हींग कम मात्रा में मिलाकर खाने से पाचन शक्ति बढ़ती है। पेट का दर्द ठीक हो जाता है।



  • जीरा, अजवाइन और काला नमक का चूर्ण बनाकर रोजाना एक चम्मच खाने से तेज भूख लगती है।



  • कब्जियत की समस्या हो तो जीरा, काली मिर्च, सौंठ और करी पाउडर को बराबर मात्रा में लें और मिश्रण तैयार कर लें। इसमें स्वादानुसार नमक डालकर घी में मिलाएं और चावल के साथ खाएं।राहत मिलेगी।



  • पके हुए केले को मैश करके उसमें थोड़ा-सा जीरा मिलाकर रोजाना रात के खाने के बाद लें। अनिद्रा की समस्या दूर हो जाएगी।



  • इसमें एंटीसेप्टिक तत्व भी पाया जाता है। सीने में जमे हुए कफ को बाहर निकलने के लिए जीरे को पीसकर फांक लें। यह सर्दी-जुकाम से भी राहत दिलाता है।



  • जीरा उबाल लें और छानकर ठंडा करें। इस पानी से मुंह धोने से आपका चेहरा साफ और चमकदार होगा।



  • एक चम्मच जीरा भूनकर रोजाना चबाने से याददाश्त अच्छी रहती है।



  • जिनको अस्थमा, ब्रोंकाइटिस या अन्य सांस संबंधी समस्या है, उन्हें जीरे का नियमित प्रयोग किसी भी रूप में करना चाहिए।



  • दक्षिण भारत में लोग अक्सर जीरे का पानी पीते हैं। उनके अनुसार, इसके सेवन से मौसमी बीमारियां नहीं होतीं और पेट भी तंदुरुस्त रहता है।



  • 50 ग्राम जीरे में 50 ग्राम मिश्री मिलाकर पीसकर पाउडर बना लें। इसे सुबह-शाम एक चम्मच सेवन करें। बवासीर में आराम मिलेगा।



  • हींग को उबाल लें। इस पानी में जीरा, पुदीना, नींबू और नमक मिलाकर पिलाने से हिस्टीरिया के रोगी को तत्काल लाभ होता है।



  •  थायराइड (गले की गांठ) में एक कप पालक के रस के साथ एक चम्मच शहद और चौथाई चम्मच जीरा पाउडर मिलाकर सेवन करने से लाभ होता है।



  • मेथी, अजवाइन, जीरा और सौंफ 50-50 ग्राम और स्वादानुसार काला नमक मिलाकर पीस लें। एक चम्मच रोज सुबह सेवन करें। इससे शुगर, जोड़ों के दर्द और पेट के विकारों से आराम मिलेगा।



  •  प्रसूति के पश्चात जीरे के सेवन से गर्भाशय की सफाई हो जाती है।



  •  खुजली की समस्या हो तो जीरे को पानी में उबालकर स्नान करें। राहत मिलेगी।



  •  एक गिलास ताजी छाछ में सेंधा नमक और भुना हुआ जीरा मिलाकर भोजन के साथ लें। इससे अजीर्ण और अपच से छुटकारा मिलेगा।



  • आंवले की गुठली निकालकर पीसकर भून लें। फिर उसमें स्वादानुसार जीरा, अजवाइन, सेंधा नमक और थोड़ी-सी भुनी हुई हींग मिलाकर गोलियां बना लें। इन्हें खाने से भूख बढ़ती है। इतना ही नहीं, इससे डकार, चक्कर और दस्त में लाभ होता है।

प्रेग्नेंसी के वक्त ध्यान रखें ये पांच मंत्र, टल जाएगी कई मुसीबतें (Keep in mind these five spells during pregnancy, many problems would be averted)

घर में 'नया मेहमान' आने वाला है, ऐसी बातें सुनते ही घर और आसपास के लोगों के चेहरे पर भी उत्साह से भरी मुस्कराहट बिखर जाती है। निश्चित तौर पर प्रेग्नेंसी का समय किसी भी महिला के जीवन के सबसे सुखद पलों में से एक होता है। लेकिन स्वस्थ प्रेग्नेंसी के लिये सतर्क रहना बेहद जरूरी है।

इसलिये प्रेग्नेंसी के शुरुआती दौर में सतर्क रहना बेहद जरूरी है। जरा सी लापरवाही बहुत बड़े नुकसान की वजह बन सकती है। इसके परिणामस्वरूप प्री-टर्म डिलीवरी की आशंका बढ़ जाती है।
                     

                          प्री-मैच्योर डिलीवरी (समयपूर्व प्रसूति) के कुछ प्रमुख कारणः


देरी से गर्भधारणः कई प्रकार के तेजी से होते हार्मोन संबंधी शारीरिक परिवर्तनों के कारण यह प्री-मैच्योर डिलीवरी का सबसे आम कारण होता है।

शिफ्ट्स में काम करनाः बार-बार बदलता शेड्यूल भी प्री-मैच्योर डिलीवरी का कारण होता है क्योंकि इससे जैविक चक्र में परिवर्तन होता है।

एल्कोहलः शराब आदि के एल्कोहल युक्त पदार्थों का सेवन करने से यह नाल तक पहुंच जाती है, जिससे समय से पहले प्रसूति का खतरा बढ़ जाता है। यह बच्चे के अंगों को प्रभावित करता है।

जंक फूडः आवश्यक पोषक तत्वों की कमी वाले खाद्य पदार्थों का सेवन करने से प्रेग्नेंसी में जटिलताएं बढ़ जाती है, जिससे प्री-मैच्योर डिलीवरी का खतरा बढ़ जाता है।

तनावः प्रेग्नेंट महिलाओं के ज्यादा तनावग्रस्त रहने से भी प्री-मैच्योर डिलीवरी का खतरा बढ़ जाता है। इससे बच्चों के कम वजन के साथ जन्म लेने की समस्या भी उत्पन्न हो सकती है।
ज़ी मीडिया ब्‍यूरो

प्रेग्नेंसी, गर्भधारण, गर्भवती महिला, प्रेग्नेंसी टिप्सप्री, मैच्योर डिलीवरी, समय पूर्व प्रसूति, कामकाजी महिलाएं, जंक फूड, Pregnancy, pregnancy, pregnant women, pregnancy tips Prix, mature delivery, premature delivery, working women, junk food,

ठंड के मौसम में बढ़ता है ब्लड शुगर (Cold weather increases blood sugar)

आपके खून में ब्लड शुगर के स्तर पर मौसम सीधा असर डालता है। सर्दियों में खून गाढ़ा हो जाता है और इस वजह से ब्लड शुगर का स्तर बदलता रहता है। डायबिटिज पीड़ितों को चिकित्सकों की सलाह है कि वे सर्दियों में खुद को गर्म रखें और पौष्टिक आहार लें।

मौसम में ठंडक आ जाने से पसीने छुड़ा देने वाली गर्मी से तो राहत मिलती है, लेकिन जो लोग डायबिटीज से पीड़ित हैं, उन्हें इस मौसम में अपना ध्यान ज्यादा रखना चाहिए। गर्मी और सर्दी दोनों मौसमों के शिखर पर डायबिटिज पीड़ितों के ब्लड शुगर के स्तर में गंभीर उतार-चढ़ाव हो सकता है। सबसे अहम बात यह कि मौसम बदलने का शरीर की कार्यप्रणाली और इनसुलिन बनने की प्रक्रिया पर असर पड़ सकता है।

इंडियन मेडिकल एसोसिएशन (आईएमए) के महासचिव डॉ. के.के. अग्रवाल ने कहा, सर्दियां कैसे हमारे ब्लड ग्लूकोज लेवल पर असर करती हैं, इस बारे में लोगों में जागरूकता की बेहद कमी है। जब तापमान कम होता है तो शरीर को अच्छे से चलाए रखने के लिए अधिक इनसुलिन की जरूरत होती है। यह भी आम बात है कि जब सर्द मौसम के बाद का मौसम आता है तो शरीर में इनसुलिन की जरूरत कम हो जाती है।
उन्होंने कहा कि इस बदलाव की वजह से शरीर में ग्लूकोज और फेरिफेरल टिशू (सतही उत्तकों) में इनसुलिन की मात्रा बढ़ जाती है। सर्दियों में लोग तनाव ज्यादा लेते हैं और टेंशन के शिकार हो जाते हैं। इस टेंशन की प्रतिक्रिया में ब्लड शुगर का स्तर बढ़ जाता है।

                              सर्दियों में डायबिटिज को ऐसे रखें नियंत्रित


जुकाम और फ्लू से बचें: जुकाम और फलू का संक्रमण खतरनाक हो सकता है, अगर सही सावधानियां न बरतीं जाएं। डायबिटिज के मरीज अपने डॉक्टर से सलाह लेकर फ्लू का वैक्सीन लगवा लें। हाथों को स्वच्छ रखें, शरीर को उचित आराम दें और सेहतमंद आहार लें।

सुरक्षित रहने के लिए खुद को गर्म रखें: कंपकंपा देने वाली ठंड के प्रतिकूल प्रभावों से बचने के लिए खुद को गर्म रखें। शरीर को गर्म और सूखा रखने के लिए उचित संख्या में कपड़े पहनें। अपने पैरों को भी अच्छे से ढककर गर्म रखें, खासकर ब्लड सकुर्लेशन से जुड़ी समस्या में। अपने ब्लड शुगर स्तर की नियमित जांच करते रहें।

सेहतमंद आहार लें: लोग सर्दियों में हाई कैलोरी चीजें खाने लगते हैं। डायबिटीज पीड़ितों को उचित मात्रा में फल और सब्जियां खानी चाहिए। अत्यधिक मीठे वाले फलों से परहेज करना चाहिए। इन महीनों में शराब का सेवन भी बढ़ जाता है, अच्छी सेहत के लिए उस पर भी सख्त नियंत्रण रखना चाहिए।

व्यायाम करें: छोटे दिन और लंबी रातें व्यायाम न करने का बहाना हो सकती हैं, लेकिन डायबिटिज पीड़ितों के लिए जरूरी है कि वह नियमित रूप से व्यायाम करें। आप नजदीकी शॉपिंग सेंटर या पार्क में सैर करने जा सकते हैं। जिम जाने से पहले या किसी भी किस्म के व्यायाम के बारे में जानकारी लेने के लिए अपने डॉक्टर से सलाह जरूर करें।

यदि आप पेट को रखना चाहते हैं दुरुस्‍त, तो इन जरूरी सावधानियों का रखें ख्‍याल (If you want to keep the stomach intact, keep these necessary precautions care)

स्वास्थ रहने के लिए हेल्दी डायट लेना बेहद जरूरी है। इंसान जीने के लिए खाता है ना की खाने के लिए जीता है। जब आपको भूख लगे तभी खाना खाएं। खाने के बीच कम से कम 3 घंटे का गैप रखें और तब जाकर दूसरी डायट लें। खाते वक्त भोजन को सही से चबाएं। खाना खाने के बाद फल बिल्कुल भी नहीं ले। इससे पेट में गैस हो सकती है।

कोशिश करें कि खाने से करीब 20 मिनट पहले नींबू का पानी और नींबू के साथ अदरक लें। खाना खाते वक्त पाचन में सहायक होने वाले मसाले लेना न भूलें। आप काली मिर्च, जीरा और अदरक ले सकते हैं। खाना खाते वक्त कुछ भी ठंडी चीज़ ना लें। खाने के 30 मिनट बाद पानी पीए।

अखरोट से होनेवाले इन फायदों के बारे में जानिए (Learn about the benefits arising from the nut)

अखरोट को पसंद करने वाले इसे डर से नहीं खाते हैं कि इसमें कैलोरी ज्यादा होती है और इससे उनका वजन बढ़ सकता है। लेकिन एक नए अध्ययन में यह बात सामने आई है कि अमेरिकी सरकार ने अखरोट में जितनी कैलोरी बताई हुई हैं उससे 21 प्रतिशत कम केलोरी होती हैं। प्रतिष्ठित ‘जनरल ऑफ न्यूट्रीशिन’ में प्रकाशित हुए इस अध्ययन में बताया गया है कि अमेरिका के कृषि विभाग (यूएसडीए) ने अखरोट में जितनी कैलोरी होने की बात कही है, असल में, अखरोट में उससे 21 फीसदी कम कैलोरी होती हैं।

यह अध्ययन डॉ डेविड जे बेयर की अगुवाई में हुआ है, जो यूएसडीएम में वरिष्ठ वैज्ञानिक हैं। इस अध्ययन में यह पाया गया है कि एक अखरोट ( 28.35 ग्राम) में 146 केलोरी होती हैं न कि 185। आम तौर पर जो कलोरी बताई जाती हैं यह उससे 39 कम है। ऐतिहासिक तौर पर, अखरोट में कैलोरी का पता लगाने के लिए ‘एटवॉटर’ तरीके का इस्तेमाल किया गया था जो 19वीं सदी के अंत में विकसित हुआ था। यह कई पदार्थों से मिलने वाली चयापचय उर्जा या शरीर में उपलब्ध उर्जा की गणना करता है। बेयर ने बताया कि यह नतीजे इस अर्थ में महत्वपूर्ण है कि पहली बार वे एक अखरोट में कैलोरी की संख्या को सही मापते हैं। यह अनुसंधान 100 साल पहले हुए अनुसंधान की सीमा बध्यताओं को दूर करेगा जिनके नतीजे आज भी इस्तेमाल किए जा रहे हैं।
बेयर ने कहा कि हमारे अनुसंधान के नतीजे यह बता सकते हैं कि अखरोट का सेवन करने वालों का औसतन वजन क्यों नहीं बढ़ता है। साथ ही, अखरोट खाने के कई संभावित फायदों को भी बता सकते हैं जिनमें कैंसर, हृदय और कुछ अन्य बीमारियों के खतरे को कम करना शामिल है। उन्होंने कहा कि हमारे अनुसंधान से लोगों की कैलोरी संबंधित चिंताओं को कम करने में मदद मिल सकती है और वे अपनी रोज की खुराक में इसे शामिल कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि यह जरूरी नहीं कि उच्च वसा वाले खाद्य पदार्थ हमें वसा ही दें और कम वसा वाले खाद्य पदार्थ हमारे लिए स्वास्थ्यप्रद हों। हमें खाने के लिए किसी चीज का चयन करने से पहले उसमें मौजूद कैलोरी को देखना चाहिए खासतौर पर ट्री नट्स के संदर्भ में।

सर्दियों में डैंड्रफ मुक्त सुंदर बालों के लिये आजमाएं ये घरेलू नुस्खे (In the winter, try these home remedies for dandruff free beautiful hair )


त्वचा और बालों पर सर्दियों का असर तेजी से होता है। शुष्क मौसम से बाल और त्वचा रूखी होने लगती है। हर मौसम में बालों की सम्याएं अलग-अलग होती है। सर्दियों के दिनों में बालों में ड्रायनेस (सूखापन), रूसी, सिर की त्वचा का सूखा पड़ना आम समस्याएं होती है।
लेकिन आपको चिंता करने की बजाय कुछ उपाय करने की जरूरत है। जानिये, बालों की समस्याओं से छुटकारा पाने के कुछ आसान तरीके -

नीम की पत्तियां:-


नीम के इस्तेमाल से बालों के झड़ने और रूसी की समस्या से निजात मिल सकती है। नीम में एंटी-सैप्टिक, एंटी वायरल (संक्रमण रोधी) और एंटी-बैक्टीरियल गुण पाए जाते हैं। नीम के पत्तों और कोपलों का पेस्ट बनाकर इसे सिर की त्वचा पर लगाकर आधे घंटे के बाद गुनगुने पानी से धोना चाहिये।


धनिया पत्ती:-

इनका पेस्ट बनाकर इसे सिर की त्वचा (स्केल्प) पर लगाना चाहिये। आधे घंटे इसे सिर में लगाकर गुनगुने पानी से धोना चाहिये।


चुकंदर की पत्तियां:-

हिना और चुकंदर की पत्तियों का मिश्रित पेस्ट बनाकर लगाना बालों झड़ने का अच्छा इलाज है। इसके अलावा चुकंदर के पत्ते और हल्दी पावडर मिलाकर सिर की त्वचा पर लगाना भी अच्छा उपाय है। इस पेस्ट को रोजाना इस्तेमाल किया जा सकता है।

कढ़ी पत्ता (मीठा नीम):-

बाल बढ़ाने और काले करने के लिये ये एक बेहतरीन नुस्खा है। 100 मिली नारियल तेल के साथ कढ़ी पत्ते मिलाकर 15 मिनट उबालकर ठंडा होने के बाद सिर की त्वचा लगाना चाहिये।

40 दिनों तक 0.06 ग्राम हींग का करें सेवन, फिर देखें कमाल (40 days the intake of 0.06 g asafetida, then Amazing View)

अगर आप अपनी सेक्स क्षमता में कमी से परेशान हैं तो घबराने की जरूरत नहीं है। इसका इलाज आपके घर में ही है। सेक्स क्षमता यानी सेक्स पावर बढ़ाने में हींग बहुत ही फायदेमंद है। हींग का इस्तेमाल सदियों से पुरुषों के नपुसंकता की समस्या का समाधान घरेलू नुस्खे के रूप में किया जाता रहा है। हींग कामोत्तेजक के रूप में काम करती है। इसलिए जिन पुरुषों को समय पूर्व स्खलन की समस्या होती है उनके इस समस्या को हींग नैचुरल तरीके से ठीक करने में बहुत मदद करती है।

हर्ब दैट हील: नैचुरल रेमिडी फॉर गुड हेल्थ पुस्तक के अनुसार 40 दिनों तक 6 सेंटीग्राम (0.06 ग्राम) हींग का सेवन करने से आप सेक्स ड्राइव को बेहतर बना सकते हैं। मिक्सचर के रूप में लगभग 0.06 ग्राम हींग को घी में फ्राई करें और उसमें शहद और बरगद के पेड़ का लैटेक्स मिलाकर इस मिश्रण को बना लें। नपुसंकता को ठीक करने के लिए सुबह सूर्य निकलने के पहले इस मिश्रण का सेवन खाली पेट 40 दिनों तक करें।

इरेक्टाइल डिसफंक्शन और समय पूर्व स्खलन की समस्या को अगर आप नैचुरल तरीके से ठीक करना चाहते हैं तो हींग एक अच्छा विकल्प बन सकता है। एक गिलास गुनगुना गर्म पानी में एक चुटकी हींग का पाउडर मिलाकर सेवन करना फायदेमंद होता है। हींग का इस्तेमाल डायट के रूप में करना सबसे अच्छा तरीका होता है। किसी-किसी को इसका ड्राई रूप में सेवन करना अच्छा नहीं लगता है इसलिए हींग को तड़के के रूप में इस्तेमाल करना ही सबसे अच्छा विकल्प होता है। असल में हींग इरेक्टाइल डिसफंक्शन की समस्या को बिना किसी साइड इफेक्ट के दूर करने में बहुत सहायता करती है। हींग शरीर के प्रजनन अंग में रक्त संचार को बढ़ाकर काम के उत्तेजना को बढ़ाती है।

सेक्स क्षमता, सेक्स पावर, घरेलू नुस्खे, समय पूर्व स्खलन की समस्या, नैचुरल रेमिडी, बरगद के पेड़ का लैटेक्स, नपुसंकता को ठीक करने के लिए, इरेक्टाइल डिसफंक्शन, हींग का इस्तेमाल, शरीर के प्रजनन अंग
Sex capacity, sex, power, household tips, the problem of premature ejaculation, Natural Remedy, latex of the banyan tree, Npusnkta to recover, erectile dysfunction, the use of asafoetida, reproductive organs of the bod

सेक्स लाइफ को बेहतर बनाना चाहते है तो इन नेचुरल फूड्स का करें सेवन (Sex Life is better to make the use of these natural foods)

प्रकृति में ऐसी कई चीजें पाई जाती है जिनका सेवन कर यौन क्षमता को बढ़ाया जा सकता है। दुनियाभर में इन वस्तुओं पर इतने प्रयोग हो चुके हैं जिसमें यह सामने आया है कि यह आपकी सेक्स क्षमता को भी कई गुना बढ़ा सकती हैं। ये गुणकारी चीजें सर्वसुलभ है जो आपके यौन संबंधों को और बेहतर बनाने में काम आ सकती हैं। सेक्स जीवन में नया रोमांच भरने के लिए ये चीजें सर्वसुलभ है जिनका इस्तेमाल आप अपने बेहतर सेक्स जीवन के लिए कर सकते हैं।



चॉकलेट:-


चॉकलेट एक बेहतर सेक्स ड्राइव माना जाता है। सेक्स के लिए चॉकलेट बहुत बेहतर है क्योंकि यह नेचुरल एंटीऑक्सीडेंट है। चॉकलेट आपके मस्तिष्क और हृदय में रक्त के प्र‍वाह को उन्नत करता है। चॉकलेट में फिनालेथाइलेमाइन नाम का यौगिक होता है जिसको खाने से मन में सेक्स की जागृति होती है। पार्टनर के बीच का प्यार का संबंध और गहरा हो जाता है। एक सर्वे के मुताबिक, चॉकलेट खाने से अपनी रोमांटिक लाइफ में मधुरता आ सकती है। डार्क चॉकलेट खाने से रक्तचाप पर सकारात्मक प्रभाव पड़ता है और इससे सेक्स क्षमता भी बढ़ती है और सेक्स परफॉर्मेंस का समय भी बढ़ जाता है।










संतरा:-
आयुर्वेद में संतरा को गुणों की खान कहा जाता है। इसके खाने से शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है। साथ ही इसके सेवन से आपकी सेक्स लाइफ भी बेहतर होती है। इसलिए संतरा का सेवन करने में कोताही मत कीजिए।














शतावरी:-


शतावरी एक चमत्कारी औषधि है जिसे कई रोगों के इलाज में उपयोग किया जाता है। खासतौर पर सेक्स शक्ति को बढ़ाने में इसका खास योगदान होता है। शतावरी को शुक्रजनन, शीतल, मधुर एवं दिव्य रसायन माना जाता है। महर्षि चरक ने भी शतावरी को चिर-यौवन को कायम रखने वाला माना था। शरीर में बल और वीर्य को बढ़ाने के लिए शतावरी की जड़ का प्रयोग किया जाता है।









अंडा:-

अंडे में कई पोषक तत्व होते हैं जो शरीर की कई बीमारियों को दूर करते हैं। इसमें विटामिन बी-5 और विटामिन बी-6 होता है जो सेक्स लाइफ के लिए बेहतरीन माने जाते है। अंडे के सेवन के जरिए आप अपने सेक्स जीवन में नया रोमांच ला सकते है।













तरबूज:-
एक नए शोध के मुताबिक तरबूज खाने से भी सेक्स ड्राइव बढती है। वैज्ञानिकों का कहना है कि सेक्स ड्राइव बढाने के मामले में तरबूज वियाग्रा से कम नहीं है। तरबूज में सेक्स ड्राइव बढाने वाले सभी गुण मौजूद हैं। तरबूज में पाए जाने वाले तत्व शरीर के ब्लड वेसल्स पर वियाग्रा जैसा असर डालते हैं और सेक्स ड्राइव को बढाते हैं।

















केसर:-
केसर एक ऐसा खाद्य पदार्थ है जिसका इस्तेमाल कामोत्तेजना बढ़ाने के लिए किया जाता रहा है। केसर प्राकृतिक कामोत्तेजक खाद्य पदार्थ है जो हार्मोन को उत्तेजित करने और स्वस्थ सेक्स जीवन को संचालित करने में मदद करता है। केसर को दूध में मिलाकर पीने से शरीर में कामोत्तेजना का संचार होता है और सेक्स जीवन में नया रोमांच भर जाता है।








लहसुन:-


लहसुन सेक्स संबंधों के लिए बेहतर माना जाता है। जानकारों के मुताबिक लहसुन में कोमोत्तेजक गुण पाए जाते हैं, जो रक्त संचार और और यौन क्षमता को बढ़ाने में मदद करता है। लेकिन ज्यादा लहसुन खाने से बचना चाहिए। लहसुन में एलीकीन होता है जो कि सेक्सी भागों में खून के प्रवाह को बढ़ाता है। कामेच्छा बढ़ाने के लिए लहसुन के कैप्सूल का इस्तेमाल किया जाना चाहिए।






Chocolate, orange, chocolate, asparagus, eggs, melon, saffron, garlic, sexual capacity, better sex drive, sex life, sex, power, sex life, Viagra, Komottejk properties, libido, excitement
चॉकलेट, संतरा, चॉकलेट, शतावरी, अंडा, तरबूज, केसर, लहसुन, यौन क्षमता, बेहतर सेक्स ड्राइव, सेक्स लाइफ, सेक्स शक्ति, सेक्स जीवन, वियाग्रा, कोमोत्तेजक गुण, कामेच्छा, रोमांच


Wednesday 9 December 2015

7 Shocking Things You Can Use Cucumber For And Why You Should Eat It All The Time!

Did your Mother ever urge you to eat your cucumbers when you were a kid? Mine certainly did. There’s something so refreshing and soothing about this amazing vegetable.

From chilled soups to smoothies, sandwiches to salads, cucumbers can be enjoyed in a variety of ways. Roll them with seaweed and rice or eat them by the slice; cucumbers are a treat. They are also nourishing for your body and health. Here are some significant health benefits of eating cucumbers.

7 Reasons Why Your Family Needs Cucumbers


1. Cucumber Hydrates

Eating cucumber hydrates the body almost as much as drinking H20 does; cucumbers are made up of a whopping 90% water!
We all forget to hydrate sometimes. Remind yourself to drink water by making this hydrating, beautifying spa drink: Simply fill a pitcher with distilled water and add 5-10 cucumber slices. Keep the pitcher chilled in the fridge for best results. You will find yourself drinking more water because it tastes so delicious!

2. Cucumber Freshens Your Breath

Defeat odor causing bacteria in your mouth with this ancient Ayurvedic method; place a cucumber slice on the roof of your mouth and leave it there for two minutes. According to Ayurveda, cucumber has cooling properties and releases excess heat in the stomach, which is what causes bad breath to occur.

3. Cucumber Fights Cancer

Cucumber is packed with cancer fighting antioxidants. It is also full of lariciresinol, pinoresinol and secoisolariciresinol. These chemical compounds may reduce several types of cancer, included breast cancer, ovarian cancer, uterine cancer, and prostate cancer. How amazing is that?

4. Cucumber Feeds Your Body Vitamins

Cucumbers contain vital nutrients that the body craves and requires to thrive. They are loaded with high levels of vitamin A, vitamin C, and vitamin B. These vitamins work to improve our immunity; they also impart beautiful skin and hair. Try adding cucumber to your juices and smoothies for an extra boost of nutrition.

5. Cucumber Helps Diabetics

Cucumber is an especially excellent food choice for diabetics; cucumber contains the hormone needed by the pancreas for making insulin in the body. Patients should eat up!

6. Cucumber Helps the Brain

Cucumbers are anti-inflammatory and contain fisetin, a flavonol that is central to proper brain health. Fisetin improves memory and protects nerve cells from the decline that comes with aging. It has also been shown to prevent learning impairments and progressive memory in mice with Alzheimer’s.

7. Cucumbers are Effective for Weight Loss

Low in calories and filling because of it’s water and fiber content, people wanting to lose weight are welcome to eat as much cucumbers as they want.
By incorporating cucumbers into your family’s diet, you can drastically improve their health and well being. More importantly, cucumbers are the perfect addition to any salad, sandwich, or even water recipes.
Be sure to buy them organic or grow them in your own backyard!

For All Smokers: These 6 Amazing Foods Will Flush Out Nicotine From Your Body

Smoking is harmful for the health. We are all aware of this, but for some it is quite difficult to break this habit. Nicotine causes rapid increase of the blood pressure and serious damage to the lungs. Moreover, even if you stop smoking, the effect of nicotine will last for years.
Healthy foods and lifestyle changes can help you eliminate the nicotine from your body.

We have listed some of the best foods that will help you remove the nicotine from your body:



Broccoli

It is rich in vitamin C and B5. Smoking reduces the levels of vitamin C in the body.Eat more broccoli to eliminate the nicotine from your organism.

Oranges

Orange juice is rich in vitamin C. Regular consumption of oranges will boost your metabolism and relieve stress.

Carrot Juice

If you smoke, then you should know that every time you light a cigarette the nicotine remains in your body for three days. Nicotine also damages your skin. Carrot juice is good for the skin, and it rich in vitamins A, C, K and B, that are proven to be efficient in removing the nicotine from the body.

Spinach

Spinach is one of the healthiest vegetables, because it is not only rich in vitamins, but also contains large amounts of folic acid.

Kiwi Fruit

This miracle fruit will help you eliminate the nicotine from your body. Kiwi fruit is a rich source of vitamins A, C and E. When you smoke, the levels of these vitamins reduce.

Water

Smoking dehydrates your body. According to many researchers, by drinking plenty of wateryou can stop smoking and eliminate the nicotine from your body. 

पुदीने के तेल के स्वास्थ्य लाभ (Health Benefits of Peppermint Oil), पुदीने के तेल के शरीर पर उपचार(Peppermint oil on the body treatment)

पुदीने के तेल में मेंथोन(menthone), मेंथॉल(menthol) और मेंथाइल एस्टर्स(methyl esters) होते हैं, जिनकी वजह से इसके गुणों की फेहरिस्त काफी लम्बी है। इस तेल का प्रयोग कई उत्पादों, जैसे साबुन, शैम्पू, टूथपेस्ट(Toothpaste), चाय, आइसक्रीम, च्युइंग गम आदि के निर्माण में भी किया जाता है। पर दूसरी तरफ इसके हमारे शरीर पर होने वाले उपकार भी कई हैं। काफी पुराने समय से पुदीना अपने औषधीय गुणों की वजह से जाना जाता है और तभी से इसका प्रयोग काफी बड़ी तादाद में किया जाता रहा है। इसे विश्व की सबसे पुरानी औषधि भी कहा जाता है।

####पुदीने के तेल के शरीर पर उपचार(Peppermint oil on the body treatment)####


हाज़मे की समस्या से मुक्ति (Indigestion)

यह तेल हाज़मे की समस्या के लिए काफी बेहतरीन औषधि है। अगर आपने भोजन थोड़ा ज़्यादा कर लिया है, तो एक गिलास में इस तेल की कुछ बूँदें डालें और इसे पी लें। यह गैस की समस्या को प्रभावी रूप से दूर करने में सक्षम है। इसके बिलकुल उलट गुण के अंतर्गत यह आपके भूख न लगने की समस्या का भी बेहतरीन इलाज है। यह दस्त, मतली, पेट में अन्य प्रकार की गड़बड़ी आदि समस्याओं को ठीक करने में सक्षम है। एक शोध के अनुसार ब्लेंडेड पेपरमिंट(blended peppermint) तथा कैरवै के तेल(caraway oil)से सीने में जलन की समस्या से भी निजात मिलती है।

दांतों की देखभाल (Dental Care)

पुदीने के तेल में एंटी सेप्टिक(Antiseptic) गुण होते हैं और यह साँसों की बदबू को दूर करता है। यह आपके दांतों और मसूड़ों को स्वस्थ बनाता है तथा कीटाणुओं से लड़ता है। पुदीने के तेल को कई टूथपेस्ट्स(Toothpaste) में भी मिश्रित किया जाता है। यह दांतों के दर्द को दूर करने तथा इन्हेलेशन(Inhalation) की समस्या का भी प्रभावी उपचार है।

नाखूनों की देखभाल (Nail Care)

पुदीने के तेल में एंटी फंगल(Anti Fungal) गुण भी होते हैं, जो आपके नाखूनों को फंगल इन्फेक्शन(Fungal Infections) से बचाते हैं। ये नाखूनों को काफी स्वस्थ रखते हैं तथा इन्हें टूटने से भी बचाते हैं।



सिर में दर्द (Headache)

सिर में दर्द की समस्या को दूर करने के लिए पुदीने का तेल काफी प्रभावी उपचार होता है। इस तेल को लें तथा इसमें पानी मिलाकर इसे डाइल्यूट कर लें। इसे अपने सिर पर लगाएं तथा अच्छे से मालिश करें। यह न सिर्फ दर्द को दूर करता है, बल्कि सिर के उस भाग को सुकून भी प्रदान करता है।

तनाव (Stress)

ज़्यादातर एसेंशियल ऑयल्स(Essential oils), जिनमें से एक पुदीने का तेल भी है, आपको डिप्रेशन, चिंता और थकावट से मुक्ति दिलाते हैं। यह तेल आपमें ऊर्जा का संचार करता है और आपके मन में चल रही बेचैनी की भावना को भी दूर करता है। इस तेल से आपका मस्तिष्क काफी अच्छे से चलता है, क्योंकि यह आपके दिमाग में चल रही दुश्चिंताओं को हटाता है और आपको ध्यान लगाने में सहायता करता है।

सांस की समस्या (Respiratory Problems)

मेंथॉल(Menthol) से आपकी साँसों की तकलीफ काफी प्रभावी रूप से दूर होती है। यह एक उपयोगी एक्सपेक्टोरेन्ट(expectorant) है, जिसकी वजह से यह आपको तुरंत राहत प्रदान करता है। जिन सामान्य समस्याओं से आप इसकी मदद से निपट सकते हैं, उनमें मुख्य है नाक का बंद होना, साइनसाइटिस(sinusitis), ब्रोंकाइटिस(bronchitis), अस्थमा(asthma), ठण्ड और कफ। अतः अब से जब भी आपको ठण्ड लगे, तो थोड़ा सा पुदीने का तेल अपनी छाती पर लगा लें। इससे आपकी स्थिति सुधरेगी और आपके शरीर को काफी सुकून मिलेगा।

दर्द से छुटकारा (Pain Relief)

इस तेल के प्रयोग से आप दर्द से भी छुटकारा प्राप्त कर सकते हैं। शोध से यह साबित हुआ है कि पुदीने का तेल दर्द से प्रभावित भागों को ठीक करने में सक्षम है। इसमें शरीर को ठंडक प्रदान करने के भी गुण होते हैं, जिससे बुखार कम करने में काफी मदद मिलती है। कई लोग इसका रेफ्रिजरेन्ट(Refrigerant) के रूप में भी प्रयोग करते हैं। यह चोट और घाव की स्थिति में प्रभावित भाग को राहत पहुंचाता है। आप इस तेल का प्रयोग सूजन, दर्द तथा जलन दूर करने के लिए भी कर सकते हैं।

प्रतिरोधी तंत्र (Immune System)

आप अपनी प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने तथा खुद को कई बीमारियों से प्रभावित होने से बचाने के लिए पुदीने के तेल का प्रयोग कर सकते हैं। जिन लोगों की प्रतिरोधक क्षमता कमज़ोर होती है, वे कई तरह की बीमारियों से पीड़ित रहते हैं। इसमें एंटी वायरल(Anti Viral), एंटी बैक्टीरियल(Anti Bacterial) और एंटी फंगल(Anti Fungal) गुण हमारी प्रतिरोधक क्षमता पर हमला करने वाली कई बीमारियों का पुख्ता तरीके से इलाज करते हैं।

ये 8 सब्जियां, वियाग्रा जैसा असर करती हैं, बढ़ाती हैं कामेच्छा

ये 8 सब्जियां, वियाग्रा जैसा असर करती हैं, बढ़ाती हैं कामेच्छा क्या आप जानते हैं कामेच्छा बढ़ाने में कुछ सब्जियां भी उतनी ही असरदार हैं जितनी की वियाग्रा की एक गोली। देखिए, कौन कौन सी ऐसी सब्जियां हैं।


टमाटर को लाल रंग देने वाला तत्व लाइकोपीन टमाटर में मौजूद होता है जो कामेच्छा बढ़ाता है।
 पुरुषों में भी क्षमता सपधारता है और प्रस्टेट कैंसर की संभावना को कम करता है।



एक कटोरी पालक का सूप पी लेने भर से कामेच्छा बढ़ती है क्योंकि ये संभोग से जुड़े उन अंगों में खून का बहाव सुधारती है।


भिंडी में कुछ विटामिन और जिंक की मात्रा ज्यादा होती है। शरीर में अगर जिंक की कमी हो तो संभोग से जुड़ी परेशानियां सामने आती है इसलिए भिंडी का सेवन करने से ये दूर हो सकती हैँ। शरीर में सही मात्रा में विटामिन होने से जल्दी थकान होने की समस्या भी दूर होती है और कामेच्छा बढ़ती है।



प्याज सेक्शुअल अंगों मकी सेहत सुधारता है और कामेच्छा बढ़ाता है। इसे नियंत्रित मात्रा में खाना अच्छा रहता है।


लहसुन में कामोत्तेजक गुण होते हैं। ये शरीर में रक्त का बहाव अच्छा रखता है और ब्लड वेसेल को फैलाता है।


गाजर में विटामिन ए भारी मात्रा में होता है और यह विटामिन स्पर्म काउंट बढ़ाता है। यही नहीं, शोध कहता है कि गाजर खाने वाले पुरुष महिलाओं को ज्यादा आकर्षक लगते हैं।


चुकंदर में नाइट्रेट होते हैं जो जननांग में रक्त बहाव बढ़ते हैं और उन्हें फैलाते हैं। ऐसा होने से कामेच्छा बढ़ती है। यह नहीं, ये हार्मोन को भी संतुलित करता है जिससे परफॉर्मेंस अच्छी होती है।

Vegetables, viagra, libido, lycopene, intercourse, vitamins and zinc, aphrodisiac qualities, blood vessels, sperm count, genital, hormones
सब्जियां, वियाग्रा, कामेच्छा, लाइकोपीन, संभोग, विटामिन और जिंक, कामोत्तेजक गुण, ब्लड वेसेल , स्पर्म काउंट, जननांग, हार्मोन