बूढ़े भी दौड़ने लगे ऐसे हैं ‘ज्वाइंट पेन’ के ये देसी नुस्खे.
 1. लगभग 8-10 लहसुन की कली को तेल या घी में तल लें और खाना खाने सेपहले उसे चबाएं। इससे जोड़ों के दर्द से तुरंत आराम मिलता है।
 -डांग जिला गुजरात के हर्बल जानकारों का मानना है कि लहसुन की कलियों को 
तलकर या गर्म करके कपूर के साथ मिलाकर दर्द वाली जगह पर थोड़ी देर तक मालिश
 की जाए तो तुरंत आराम मिलता है।
 2. साटोडी के फूल,आबा हल्दी और 
अदरक की समान मात्रा को मिक्स कर उसका काढ़ा तैयार कर लें। इस काढ़े की 
दो-तीन चम्मच मात्रा का सेवन करें। इससे भी जोड़ों का दर्द दूर होता है।
 3. आंकडा के ताजी पत्तियों पर सरसों का तेल के साथ लेप तैयार कर लें। इस 
लेप को हल्का गर्म कर दर्द वाली जगह पर लगाने से भी आराम मिलता है.
 
4. दालचीनी का 2 ग्राम का चूर्ण एक कप पानी में मिलाकर रोजाना सुबह पिएं। 
इससे जोड़ों के दर्द में काफी आराम मिलता है। डांग जिले के आदिवासियों के 
अनुसार यह फॉमरूला डायबिटीज की समस्या से भी निजात दिलाने में सहायक है। 
आदिवासियों के अनुसार खाने-पीने में भी दालचीनी का उपयोग शरीर को कई तरह की
 समस्याओं से दूर रखता है।
 5. बरसात के दिनों में इंद्रावन के फल का
 गूदा, नमक और आजवाइन के मिश्रण का सेवन न सिर्फ जोड़ों के दर्द से मुक्ति 
दिलाता है, बल्कि यह आर्थरायटिस में भी शरीर को काफी लाभ पहुंचाता है।
 6. आदिवासी आमतौर पर अनंतवेल के पत्तों की चाय पीते हैं। अनंतबेल की एक 
ग्राम जड़ लगभग एक कप चाय के लिए काफी है। अगर दिन में दो बार इसका सेवन 
किया जाए तो जोड़ों के दर्द से तुरंत निजात मिल जाती है।
 7. आदिवासी
 हरी घास, अदरक, दालचीनी और लोंग की समान मात्रा को मिश्रित कर इसकी गोली 
बनाते हैं। वे इस गोली का नियमित सेवन करते हैं और इसके साथ कम से कम 5 
मिली पानी पीने की सलाह देते हैं। यह प्रकिया अगर लगातार एक महीने तक आजमाई
 जाए तो जोड़ों का दर्द खत्म हो जाता है।
 8. पारिजात के 6-7 ताजे 
पत्ते अदरक के साथ पीस लें और शहद का साथ इसका सेवन करें तो इससे न केवल 
जोड़ों के दर्द से राहत मिलती है, बल्कि शरीर की अन्य तकलीफें भी खत्म हो 
जाती हैं। माना जाता है कि इस फॉमरूले का सेवन सायटिका जैसे रोगों से निजात
 दिलाने में भी बहुत सहायक है।

 
No comments:
Post a Comment